प्राचीन हनुमान मंदिर, कनॉट प्लेस: दिल्ली का चमत्कारी मंदिर

प्राचीन हनुमान मंदिर, कनॉट प्लेस

भारत एक ऐसा देश है जो आस्था और श्रद्धा से भरा हुआ है। हर राज्य, हर शहर में देवी-देवताओं के मंदिर हैं, लेकिन कुछ मंदिर ऐसे हैं जिनकी महिमा अनोखी और चमत्कारी मानी जाती है। ऐसा ही एक मंदिर है प्राचीन हनुमान मंदिर, कनॉट प्लेस में स्थित। यह मंदिर सिर्फ दिल्लीवासियों के लिए ही नहीं, बल्कि देश और दुनिया भर से आने वाले श्रद्धालुओं के लिए भी आस्था का बड़ा केंद्र है।

प्राचीन हनुमान मंदिर, कनॉट प्लेस : हर दिन लगती है भक्तों की भीड़

प्राचीन हनुमान मंदिर, कनॉट प्लेस
प्राचीन हनुमान मंदिर, कनॉट प्लेस,दिल्ली

प्राचीन हनुमान मंदिर, कनॉट प्लेस बाबा खड़क सिंह मार्ग पर स्थित है। यह स्थान दिल्ली का दिल माना जाता है। इस मंदिर में हर दिन सैकड़ों भक्त दर्शन करने आते हैं, लेकिन मंगलवार और शनिवार को तो यहां पैर रखने की भी जगह नहीं होती। लोग अपार श्रद्धा और विश्वास के साथ बजरंगबली के दर्शन के लिए आते हैं और उन्हें असीम शांति का अनुभव होता है।

महाभारत काल से जुड़ा है मंदिर का इतिहास

यह भी कहा जाता है कि प्राचीन हनुमान मंदिर, कनॉट प्लेस उन्हीं पाँच मंदिरों में से एक है जिनकी स्थापना पांडवों ने महाभारत काल में की थी। दिल्ली उस समय ‘इंद्रप्रस्थ’ नाम से जानी जाती थी और पांडवों ने इसे यमुना नदी के किनारे बसाया था। भीम और हनुमान दोनों को वायु-पुत्र कहा जाता है, इसलिए पांडवों ने विशेष प्रेमवश इस मंदिर की स्थापना की।

अन्य चार प्राचीन मंदिर

  • कालकाजी मंदिर (दक्षिण दिल्ली)

  • योगमाया मंदिर (कुतुब मीनार के पास)

  • भैरो मंदिर (पुराना किला के पास)

  • नीली छतरी महादेव मंदिर (निगम बोध घाट के पास)

इन पाँचों मंदिरों की धार्मिक और ऐतिहासिक महत्ता अत्यंत है।

 

कनॉट प्लेस में स्थित होने का लाभ

प्राचीन हनुमान मंदिर
प्राचीन हनुमान मंदिर, कनॉट प्लेस,दिल्ली

प्राचीन हनुमान मंदिर, कनॉट प्लेस में स्थित होने के कारण यहां पहुँचना बेहद आसान है। यह स्थान दिल्ली का प्रमुख व्यापारिक केंद्र है और देशभर से लोग यहां खरीदारी करने आते हैं। यहां तक कि स्थानीय लोग भी इस मंदिर के बारे में अच्छी जानकारी रखते हैं। कहा जाता है कि जो भी व्यक्ति सच्चे मन से हनुमान जी की शरण में आता है, उसके सभी कष्ट दूर हो जाते हैं।

मंदिर का वर्तमान स्वरूप

सन 1924 में जयपुर रियासत के महाराज जय सिंह द्वारा इस मंदिर का जीर्णोद्धार कराया गया। इसके बाद मंदिर की प्रसिद्धि बढ़ती गई और प्राचीन हनुमान मंदिर, कनॉट प्लेस दुनियाभर में मशहूर हो गया। मंदिर में हनुमान जी का बाल रूप देखा जा सकता है जो श्रद्धालुओं को विशेष आकर्षित करता है।

मुगल काल में भी सुरक्षित रहा मंदिर

Pracheen Hanuman Mandir Delhi
प्राचीन हनुमान मंदिर, कनॉट प्लेस,दिल्ली

मुगल शासन के दौरान इस मंदिर पर कई बार हमले किए गए लेकिन हनुमान जी के चमत्कार से मंदिर को कोई नुकसान नहीं हुआ। यह भी मान्यता है कि संत तुलसीदास जी ने यहां बैठकर हनुमान चालीसा की रचना की थी। जब मुगल सम्राट अकबर को इसकी जानकारी मिली तो उन्होंने तुलसीदास जी को दरबार में बुलाया और उनके चमत्कार से प्रभावित होकर मंदिर के शिखर पर इस्लामी चंद्रमा एवं किरीट कलश समर्पित किया। इसके बाद किसी भी मुस्लिम शासक ने इस मंदिर को नुकसान नहीं पहुँचाया।

33 पीढ़ियों से हो रही सेवा

यह मंदिर एक ऐसा स्थल है जहाँ 33 पीढ़ियों से पुजारी परिवार सेवा कर रहे हैं। यहां श्रद्धालु मोदक और लड्डू चढ़ाकर अपने मनोरथ पूर्ण करते हैं। कहा जाता है कि कनॉट प्लेस के बजरंगबली उन भक्तों पर विशेष कृपा करते हैं जो सच्चे मन से उनकी पूजा करते हैं।

संत तुलसीदास और मंदिर का संबंध

प्रसिद्ध संत तुलसीदास जी ने इस मंदिर में बाल रूप में हनुमान जी के दर्शन किए थे। वे इस दृश्य से इतने प्रभावित हुए कि उन्होंने हनुमान चालीसा की रचना यहीं की। उनका यह अनुभव इतना दिव्य था कि यह स्थान भक्ति और चमत्कारों की गाथा बन गया।

मंदिर में होती है विशेष चोला चढ़ाने की परंपरा

हर सोमवार, बुधवार और शुक्रवार को मंदिर में चोला चढ़ाने की विशेष परंपरा है। इसमें भक्त घी, सिंदूर, चांदी का वर्क और इत्र का उपयोग करते हैं। यह परंपरा वर्षों से चली आ रही है और भक्त इसे विशेष श्रद्धा से निभाते हैं।

चौबीसों घंटे चलता है राम नाम का जाप

Pracheen Hanuman Mandir
प्राचीन हनुमान मंदिर, कनॉट प्लेस,दिल्ली

प्राचीन हनुमान मंदिर, कनॉट प्लेस की सबसे बड़ी विशेषता यह है कि यहां 1 अगस्त 1964 से लगातार श्री राम जय राम जय जय राम का जाप हो रहा है। यह जाप दिन-रात बिना रुके चलता है और यह विश्व का सबसे लंबा जाप माना जाता है। इसी कारण इसे गिनीज बुक ऑफ वर्ल्ड रिकॉर्ड्स में भी दर्ज किया गया है।

पास ही है प्राचीन शनि मंदिर

हनुमान मंदिर के पास एक प्रसिद्ध शनि मंदिर भी है जो एक दक्षिण भारतीय श्रद्धालु द्वारा बनवाया गया था। यहां भी श्रद्धालु दूर-दूर से दर्शन के लिए आते हैं।

प्रमुख त्यौहारों पर होता है विशेष श्रृंगार

प्राचीन हनुमान मंदिर, कनॉट प्लेस में दीपावली, हनुमान जयंती, जन्माष्टमी और शिवरात्रि जैसे पर्वों पर मंदिर को सुंदर तरीके से सजाया जाता है। इन अवसरों पर हनुमान जी का विशेष श्रृंगार किया जाता है और हजारों भक्त दर्शन के लिए आते हैं।

विदेशी भक्त भी करते हैं दर्शन

यहां तक कि अमेरिका के पूर्व राष्ट्रपति बराक ओबामा भी इस मंदिर से प्रभावित हुए और भारत यात्रा के दौरान यहां के दर्शन किए थे। यह मंदिर ना केवल भारतीय भक्तों के लिए खास है बल्कि विदेशी श्रद्धालुओं के लिए भी एक आस्था का केंद्र है।

निष्कर्ष

प्राचीन हनुमान मंदिर, कनॉट प्लेस एक ऐसा धार्मिक स्थल है जो चमत्कारों, श्रद्धा और भक्ति से भरा हुआ है। यहां हर धर्म, हर वर्ग के लोग आते हैं और हनुमान जी की कृपा प्राप्त करते हैं। यह मंदिर न सिर्फ एक धार्मिक स्थल है, बल्कि भारत की सांस्कृतिक विरासत और धार्मिक एकता का प्रतीक भी है।